स्वस्थ्य मस्तिक में ही शिक्षा का होता है निर्माण, पढाई के लिए स्वस्थ्य रहना जरूरी, बीपीएम, बीइओ को मिला ट्रेनिंग

कक्षा 6 से 12 तक के छात्र-छात्राओं को मिलेंगी स्वास्थ्य शिक्षा की जानकारी

हेल्थ एंड वेलनेस के तहत विद्यालयों में बच्चों को बीपीएम करेंगे जागरूक

औरंगाबाद से कपिल कुमार

स्वस्थ्य मस्तिक में ही गुणवत्तापूर्ण शिक्षा का निर्माण होता है। पढाई में तभी मन लगता है जब खुद से मन व शरीर स्वस्थ्य रहता है। पढाई के साथ-साथ स्वास्थ्य की जानकारी छात्र-छात्राओं को रखना बेहद जरूरी हैं। ये बातें बुधवार को शहर के गार्गी होटल में आयोजित एक दिवसीय प्रशिक्षण शिविर के दौरान जिला शिक्षा पदाधिकारी सुरेन्द्र कुमार ने कहीं। उन्होंने कहा कि प्रशिक्षण शिविर का मुख्य उदेश्य कक्षा छह से बारह तक के बच्चों को स्वास्थ्य संबंधी जानकारी देकर उन्हें जागरूक करना है। प्रशिक्षण शिवर में जिले के सभी प्रखंडों के प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी, बीपीएम ब्लॉक प्रोजेक्ट मैनेजर एवं संबंधित विभाग के सभी पदाधिकारी व कर्मी मौजूद रहें। प्रशिक्षण के माध्यम से बताया गया कि बच्चों को हेल्थ की जानकारी देते हुए उन्हें स्वस्थ्य रखने के लिए अग्रसारित करना है। विद्यालयों में जाकर बीपीएम सप्ताह के प्रत्येक बुधवार को स्वास्थ्य संबंधित प्रशिक्षण देंगे ताकि बच्चे स्वास्थ्य के प्रति सचेत होकर अपने शरीर का स्वस्थ्य व फिटनेश रखेंगे। उन्होंने कहा कि जब छात्र-छात्राएं शरीरिक रूप से स्वस्थ्य नहीं होंगे तब तक पढाई में मन नही लगेगा। वहीं बच्चों को प्रत्येक सप्ताह हेल्थ चेकअप भी करना है। डीपीएम मो अनवर ने बताया िक सरकार द्वारा जो भी योजनाएं चलायी जा रही है उसे छात्र-छात्राओं तक लाभ पहुंचाना है। नये योजना के तहत अब विद्यालयों में डिक्शनरी समेत अन्य किताबे उपलब्ध कराना है, जिसकी राशि भी उपलब्ध हो चुका है। विद्यालयों में फॉलिक, आयरन व एलबेंडा जोल की देनी है गोलीडीपीएम मो अनवर ने कहा िक प्रत्येक विद्यालयों में नामांकित बच्चों की संख्या के हिसाब से फॉलिक एसिड, आयरण एवं एलबेंडा जोल की गोली देनी है। प्रत्येक माह में हेडमास्टर उतना ही दवा बीपीएम व बीइओ के माध्यम से विद्यालयों में ले जाएंगे जितनी संख्या में बच्चे है। अगर जिस माह में दवा बच जाती है तो वह दवा अगले माह में प्रयोग करेंगे। दवा की वैलिड 18 माह तक की होती है। उन्होंने कहा क दवा खाने से पहले व खाने के बाद बच्चों को पूरी तरह से दवा के फायदे को बताना है, नहीं तो गलत तरीके से दवा खाने के बाद कई प्रकार से नुकसान पहुंचती है, जिसके बाद दवा खराब की बाते प्रसारित होने लगती है। दवा खाने का तरीका बताकर ही बच्चों काे दवा दें। विद्यालयों में हेल्थ चेकअप के साथ होंगे क्वीज प्रतियोगिताजिला शिक्षा पदाधिकारी सुरेन्द्र कुमार ने बताया कि विद्यालयों में हेल्थ चेकअप के साथ-साथ अब क्वीज प्रतियोगिता भी आयोजित किये जाएंगे। इसके लिए प्रत्येक विद्यालय में लगभग 2500 रूपये खर्च किये जाएंगे। उन्होंने बताया कि विद्यालयों में चार कार्यक्रम आयोजित किये जाएंगे। पहले छात्र-छात्राओं के बीच दवा वितरण, दूसरे कार्यक्रम के रूप में सप्ताह के प्रत्येक बुधवार को स्वास्थ्य संबंिधत प्रशिक्षण, तीसरे क्वीज प्रतियोगिता व चौथे हेल्थ चेकअप के रूप में कार्य किये जाएंगे। इसके लिए कक्षा 6 से 12 तक के सभी विद्यालयों के हेडमास्टर अंबेस्टर होंगे और उनके देखरेख में बीपीएम स्वास्थ्य संबंधित व बीइओ शिक्षा के संबंध में बच्चों को जानकारी देंगे। कार्यक्रम में डीइओ , डीपीएम के अलावे डीपीओ दयाशंकर सिंह, गार्गी कुमारी, डीपीसी नरेन्द्र कुमार, डीसीएम आनंद प्रकाश, अभय, प्रकाश, कमलेश समेत अन्य मौजूद रहें।

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